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बिलासपुर :- अधिवक्ता मीरा गुप्ता का कहना है कि अगर ऐसे करते पाए गए तो जुर्माना व जेल दोनों की हो सकती है सजा अगर आप भी दो वाहन चलाते हैं और आए दिन जाम में फंस जाते हैं तो यह खबर आपके काम की है। जब भी कोई व्यक्ति वाहन लेकर सड़क पर उतरता है तो कुछ ऐसी जरूरी बातें होती हैं जिनका वह ध्यान नहीं रख पाता है। जिनमें खासतौर पर आपातकालीन वाहनों का रास्ता रोकने पर होने वाली असुविधा और फिर कानूनी कार्रवाई पर ध्यान नहीं देते हैं । दरअसल किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए निर्धारित और अधिकृत वाहन इमरजेंसी वाहन की श्रेणी में आते हैं, जिनमें पुलिस की गाड़ी, एम्बुलेंस, फायर ब्रिगेड आदि वाहन शामिल होते हैं।
अधिवक्ता मीरा गुप्ता का कहना है कि सरकार द्वारा आपदा प्रबंधन के लिए चिन्हित वाहनों को अगर सड़क पर चलते समय रास्ता नहीं दिया जाए या फिर उनके सामने किसी वाहन को फंसा दिया जाए तो ऐसे मे वाहन चालक की मुश्किलें बढ़ जाती हैं। ऐसी स्थिति में उस वाहन चालक के खिलाफ जुर्माने और सजा का प्रविधान है। सड़क पर इमरजेंसी वाहनों का रास्ता रोकने पर कानून में कड़ी सजा का प्रविधान है।
वाहनों की होती है विशेष पहचान :-
ऐसे वाहन जिन्हें इमरजेंसी वाहनों में शामिल किया गया है उनकी पहचान भी भिन्न होती है। यानी उन वाहनों की पहचान के लिए उन पर विशेष सायरन और बत्ती लगी होती है। उनके परिचालन के वक्त पब्लिक एड्रेस सिस्टम से अन्य गाड़ी के वाहनों को रास्ता क्लीयर करने के निर्देश दिए जाते हैं।
लेकिन ऐसी स्थिति में सायरन या अनाउंसमेंट सुनने के बाद भी लोग वाहन को जाने के लिए खाली रास्ता नहीं देते हैं जिस स्थिति में सभी के लिए मुश्किल खड़ी हो सकती है। मोटर वाहन (संशोधन अधिनियम) 2019 की धारा 194ई के अंतर्गत विशेष तौर पर आपातकालीन वाहनों के लिए विशेष कानून बनाया है। इसमें किसी वाहन चालक के द्वारा किसी भी आपातकालीन सेवाओं में उपयोग किए जाने वाले वाहन का रास्ता रोका जाता है तो इस पर कानूनी कार्यवाही प्रस्तावित की जा सकती है। जिसमें जुर्माने से लेकर सजा तक का प्रविधान है। अधिनियम में अन्य भी कई धाराएं हैं जो लापरवाही पर वाहन चलाने और नियमों का पालन नहीं करने पर प्रभावी होती हैं।
खाली वाहन नहीं बजा सकते सायरन :-
अधिवक्ता मीरा गुप्ता का कहना है कि ऐसा नहीं है कि आपातकालीन वाहनों को हर प्रकार की छूट दी जाती है। अधिवक्ता सिसोदिया की मानें तो आपातकालीन वाहन भी सायरन और बत्ती तब ही उपयोग कर सकते हैं जब वास्तव में कोई आपातकाल की स्थिति बन रही हो । अगर कोई इमरजेंसी वाहन का चालक सामान्य स्थिति में वाहन में सायरन बजाता हुआ चलता है तो ऐसी स्थिति में उनके खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है। सामान्य व्यक्ति भी चाहे तो इस बात की साक्ष्य सहित शिकायत कर उस वाहन चालक को दंड दिलवा सकता है।
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